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मंगलवार, 24 अक्टूबर 2023

कसेरूखेड़ा में 80 फीट ऊंचे रावण का होगा दहन

 कसेरू में 80 फीट के रावण का दहन होगा

रावण की दहकती और घूमती हुई झीलें मुख्य आकर्षण हैं

➡️गंगानगर: श्री पार्टी दशहरा समिति के कसेरू खेड़ा के प्रमुख युवाओं द्वारा आज मंगलवार को होने वाले दशहरे मेले की तैयारी पूरी कर ली गई है। सोमवार को मेला स्थल पर बड़े-बड़े झूले लगे नजर आए और मेला समिति की तरफ से जगह पर सेकेल ने भी अपनी दुकान सजा ली थी। मेला समिति के अध्यक्ष विनोद सोनकर ने बताया कि सेना के मैदान में रावण के पुतले का दहन होगा। इस बार रावण की पुतली के दोनों हाथ भी हिलते हैं।

सुरक्षा की दृष्टि से लाल कुर्ती पुलिस ने भी मेला स्थल का भ्रमण कराया एवं मेला समिति को आवश्यक दिशा-निर्देश भी दिए। मेले के अध्यक्ष विनोद सोनकर ने बताया कि दशहरा मॉल की पूरी तरह से शुरुआत कर दी गई है। मेला स्थल पर रावण का पुतला देर रात खड़ा कर दिया गया सुरक्षा के लिए भी विशेष व्यवस्था की गई है।

 सोनकर ने बताया कि मंगलवार को दशहरा मॉल में लघु नाटिका का मंचन मियामी द्वारा किया जाएगा और डांस ग्रुप के रंगारंग कलाकार विनोद दी डेमोक्रेट द्वारा किया जाएगा। मेला देखने वाले दर्शकों की सुरक्षा के लिए विशेष व्यवस्था की गई है, आस-पास के गांव में दर्शकों की सुरक्षा के लिए विशेष व्यवस्था की गई है, पर्यावरण को ध्यान में रखते हुए रावण के पुतले का निर्माण किया गया है, डॉ इंद्र कुमार, , आनंद भाई ड्रीम कोरी, अरुण कुमार आदि द्वारा किया गया है जिसमें विशेष ध्यान दिया गया है कि रावण के पुतले का दहन पर प्रदूषण ना हो। मेले का उद्घाटन समाज सेविका स्लीपर कैलाशी द्वारा किया जाएगा एवं मुख्य अतिथि उत्तर प्रदेश सरकार में मंत्री दीना खटीक द्वारा किया जाएगा। मेला समिति के विशेष सदस्यों में स्टार्टअप कैंट के विधायक अमित अग्रवाल, मेयर हरिकांत अहलूवालिया, सरधना के अध्यक्ष अतुल प्रधान, सहायक अभियंता।

विशेष रूप से पंडित ढेबा से सुंदर शर्मा, अमित शर्मा, आशीष शर्मा, अवनीश काजला, नीरज आदि भी शामिल रहेंगे। मेला समिति के सदस्यों के लिए मेला व्यवस्था की जिम्मेदारियां चिह्नित की गई हैं। इनमें मुख्य रूप से हकदार पुष्पेंद्र कुमार कांता प्रसाद सोनकर, आलोक महेश्वरी, नंदकिशोर, गंगाराम, मनोज यादव जियालाल, पारस गुप्ता, राजन सोनकर, सत्य प्रकाश, संजय कुमार, अरुण कुमार आदि मुख्य नाम हैं।

सोमवार को मेला स्थल पर एक बार असमंजस की स्थिति भी बन गई जब सेना के अधिकारी मेला स्थल पर द्वीप और मेले के लिए आवश्यक परमिशन की प्रति स्वतंत्रता मेला समिति की ओर से सैन्य अधिकारियों की ओर से प्रशासन की ओर से जारी किया गया एक पत्र जारी किया गया। जानकारी होने एवं आवश्यक दिशा-निर्देश निर्देश के बाद सेना के अधिकारी वापस चले गये।

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